आत्मनिर्भर भारत सम्मेलन से पहले भाजपा नेता नजरबंद, समाज के विरोध पर छूटे
News Image

गरियाबंद जिले के देवभोग में विधानसभा स्तरीय आत्मनिर्भर भारत सम्मेलन से ठीक पहले भाजपा के पूर्व जिला मंत्री चमार सिंह पात्र को पुलिस ने नजरबंद कर दिया।

चमार सिंह माली समाज के कद्दावर नेता भी हैं। उनकी नजरबंदी की खबर फैलते ही समाज के लोग आक्रोशित हो गए।

थाने के बाहर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया, जिसके बाद पुलिस को उन्हें छोड़ना पड़ा।

रविवार को देवभोग में भाजपा का बड़ा सम्मेलन आयोजित था, जिसमें प्रदेश संगठन महामंत्री पवन साय और राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त चंदूलाल साहू समेत कई बड़े नेता मौजूद थे।

कहा जा रहा है कि चमार सिंह पात्र सम्मेलन के मंच से जिला संगठन में हुई नियुक्तियों की विसंगतियों को उजागर करने वाले थे।

सूत्रों के अनुसार, कुछ नेताओं को इसकी जानकारी पहले ही मिल गई थी। इसी वजह से पुलिस को सक्रिय कर उन्हें कार्यक्रम से पहले ही थाने में बैठा दिया गया।

घटना की खबर फैलते ही पंडरा माली समाज के प्रमुख थाने पहुंचे। समाज के लोगों ने इसे अनुचित और अपमानजनक बताते हुए विरोध जताया।

थाने के बाहर दर्जनों लोग जमा हो गए। विरोध बढ़ता देख पुलिस को उन्हें छोड़ना पड़ा।

थाने से लौटने के बाद चमार सिंह पात्र ने कहा कि उनका कसूर सिर्फ इतना था कि वह संगठन की नियुक्ति में हुई गड़बड़ी को अपने ही नेताओं के सामने रखना चाहते थे।

उन्होंने सवाल उठाया कि पुराने और समर्पित कार्यकर्ताओं को संगठन में जगह न देना और आवाज उठाने पर पुलिस कस्टडी में भेज देना, क्या यही अनुशासन है?

गरियाबंद जिला कार्यकारिणी के गठन के बाद से भाजपा संगठन में असंतोष भड़क रहा है। पुराने कार्यकर्ताओं की नाराजगी अब खुलकर सामने आने लगी है।

मैनपुर, देवभोग, अमलीपदर और गोहरापदर क्षेत्र के कई कार्यकर्ता संगठन से उपेक्षित महसूस कर रहे हैं और पहले ही पार्टी नेतृत्व को शिकायतें भेज चुके हैं।

राजनीतिक जानकारों का मानना है कि चमार सिंह पात्र की नजरबंदी ने साफ कर दिया है कि पार्टी के भीतर सब कुछ उतना अनुशासित नहीं है, जितना दिखाया जा रहा है।

राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि क्या संगठन में दबे स्वर अब खुलकर बगावत में बदलेंगे? क्या समर्पित कार्यकर्ताओं की अनदेखी से पार्टी को अंदरूनी झटका लगेगा?

भाजपा संगठन में अब अंदर चल रही भीतरी खींचतान खुलकर सामने आ गई है। पार्टी में नेताओं के बीच दरार इतनी बढ़ चुकी है कि आवाज उठाने वालों को अब थाने की कुर्सी दिखाकर चुप कराने की कोशिश की जा रही है।

कुछ अन्य वेब स्टोरीज

Story 1

कैलाश विजयवर्गीय बने दुकानदार , धनतेरस पर निभाई अनूठी परंपरा!

Story 1

पाक की इंच-इंच जमीन पर ब्रह्मोस की नजर, ऑपरेशन सिंदूर तो बस ट्रेलर था!

Story 1

एलसीए तेजस मार्क-1ए: पहली उड़ान से दुश्मनों में मची खलबली!

Story 1

दिल्लीवासियों को दिवाली तोहफा: पानी के बिल पर लगा पूरा जुर्माना माफ!

Story 1

चलती ट्रेन से महिला ने दूसरे ट्रेन ड्राइवर को मारा पत्थर, बाल-बाल बचा लोको पायलट!

Story 1

ढलान पर फिसलते बच्चे को हथिनी ने बचाया, जुगाड़ देख पिघल गया दिल!

Story 1

चीनी सेना में भूचाल: जनरल स्तर के अफसर पर भी गिरी गाज, भ्रष्टाचार में 9 सैन्य अधिकारी बर्खास्त

Story 1

फैक्ट चेक: क्या भारत ने पैसे देकर अफ़ग़ानों को पाकिस्तान से लड़ने के लिए उकसाया? वायरल वीडियो का सच

Story 1

एक लाख से ऊपर किलो! क्या है 24 कैरेट सोने वाली इस मिठाई में खास?

Story 1

दीदी को अपना साजन समझ बैठा डोगेश! कुत्ते के साथ फिल्मी गाने पर लड़की के ठुमके, यूजर्स ने लिए मजे