भारत-ब्रिटेन ट्रेड डील: क्या होगा सस्ता और किसके लिए खुलेंगे अवसर?
News Image

भारत और ब्रिटेन के बीच बहुप्रतीक्षित मुक्त व्यापार समझौता (एफटीए) आखिरकार संपन्न हो गया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ब्रिटेन यात्रा के दौरान इस समझौते पर मुहर लगी. यह समझौता दोनों देशों के बीच आर्थिक संबंधों को एक नई दिशा देगा.

इस समझौते को सिर्फ आर्थिक साझेदारी नहीं, बल्कि साझा समृद्धि की योजना बताया जा रहा है. भारतीय टेक्सटाइल, फुटवियर, ज्वेलरी, सी फूड और इंजीनियरिंग उत्पादों को ब्रिटेन में बेहतर बाजार पहुंच मिलेगी. साथ ही, भारतीय कृषि उत्पाद और प्रोसेस्ड फूड इंडस्ट्री के लिए भी ब्रिटेन के बाजार में बेहतर अवसर बनेंगे.

समझौते से भारतीय किसानों, मछुआरों और एमएसएमई सेक्टर को विशेष रूप से लाभ होगा. वहीं, भारत में यूके में बने मेडिकल उपकरण और एयरोस्पेस पार्ट्स सुलभ और किफायती दरों पर उपलब्ध हो सकेंगे.

ब्रिटेन सरकार का कहना है कि इस समझौते से ब्रिटिश अर्थव्यवस्था में हर साल 4.8 अरब पाउंड (6.5 अरब डॉलर) का योगदान होगा. दोनों देशों के वाणिज्य मंत्रियों ने इस समझौते को ऐतिहासिक बताया है.

भारत ने ब्रिटेन से आयात होने वाली व्हिस्की पर टैरिफ को आधा यानी 150% से घटाकर 75% कर दिया है. इसे 2035 तक और घटाकर 40% तक किए जाने का प्रावधान है. इससे भारतीय बाजार में पहुंच के मामले में ब्रिटेन को अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धियों पर बढ़त मिलेगी.

ब्रिटेन की कारें, एयरोस्पेस, इलेक्ट्रिकल्स, चिकित्सा उपकरण, व्हिस्की और मांस, बिस्कुट, चॉकलेट जैसे खाद्य पदार्थ सस्ते हो जाएंगे. वहीं, ब्रिटेन में भारतीय वस्त्र और आभूषण भी सस्ते होंगे.

समझौते के तहत जो भारतीय कर्मचारी अस्थायी रूप से ब्रिटेन जाएंगे और जो ब्रिटिश कर्मचारी अस्थायी रूप से भारत में काम करेंगे, उन्हें केवल अपने देश में ही सामाजिक सुरक्षा योगदान देना होगा.

एफटीए में कार्बन टैक्स पर बातचीत जारी है. ब्रिटेन को भारत की वित्तीय और कानूनी सेवाओं के क्षेत्र में उतनी पहुंच नहीं मिली है, जितनी वह चाहता था. दोनों देशों के बीच एक द्विपक्षीय निवेश संधि पर बातचीत जारी है.

दोनों प्रधानमंत्रियों ने रक्षा, शिक्षा, जलवायु, तकनीक और इनोवेशन के क्षेत्र में आपसी सहयोग बढ़ाने पर भी सहमति जताई है. खुफिया साझेदारी और ऑपरेशनल स्तर पर सहयोग से भ्रष्टाचार, गंभीर धोखाधड़ी, संगठित अपराध और अवैध प्रवास से निपटने में मदद मिलेगी.

इस समझौते को इस हफ्ते की शुरुआत में भारत की केंद्रीय मंत्रिमंडल से मंजूरी मिल चुकी है, लेकिन इसे अब भी संसद की मंजूरी मिलना बाकी है. समझौते के लागू होने में कम से कम एक साल का समय लग सकता है.

कुछ अन्य वेब स्टोरीज

Story 1

मोदी जैसा कोई नहीं! ग्लोबल लीडर रेटिंग में फिर टॉप

Story 1

41 साल के डिविलियर्स का तूफान! 41 गेंद पर शतक, दक्षिण अफ्रीका ने इंग्लैंड को 10 विकेट से रौंदा

Story 1

रेलवे ने रचा इतिहास: हाइड्रोजन ट्रेन का सफल परीक्षण, आम ट्रेन से कैसे होगी अलग?

Story 1

मालदीव में पीएम मोदी का भव्य स्वागत, मुइज्जू ने मंत्रियों की फौज संग किया अभिनंदन, चीन-पाक हैरान

Story 1

थाईलैंड-कंबोडिया सीमा पर भीषण जंग: विश्व धरोहर तबाह, हवाई हमले जारी

Story 1

पत्नी ने 150 रुपये में ज़हर मंगाकर पति को खिलाया, दो महीने तक घर में रही, फिर खुली खौफनाक सच्चाई

Story 1

इंग्लैंड में तिलक वर्मा का बल्ला गरजा, 15 चौके-छक्कों के साथ ठोका दूसरा शतक!

Story 1

बाढ़ में बाल-बाल बचे पप्पू यादव, आंखों के सामने गंगा में समा गया घर!

Story 1

वह एक खतरनाक खिलाड़ी है... : बेन स्टोक्स ने बताया दुनिया का डेंजर बल्लेबाज कौन!

Story 1

हवा में उड़ेगी बाइक! दुनिया की पहली एयरबाइक लॉन्च, जानिए कीमत और खासियत