पाकिस्तान को दुनिया के सामने बेनकाब करने के लिए केंद्र सरकार ने एक बहुदलीय प्रतिनिधिमंडल तैयार किया है. इस प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस नेता शशि थरूर और AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी भी शामिल हैं. यह प्रतिनिधिमंडल अलग-अलग देशों में जाकर पाकिस्तान के झूठ को उजागर करेगा.
खास बात यह है कि कांग्रेस स्वयं इस बात से हैरान है कि केंद्र की सूची में शशि थरूर का नाम कैसे आया. पार्टी नेता इस पर आश्चर्य व्यक्त कर रहे हैं.
बताया जा रहा है कि केंद्र सरकार ने इस प्रतिनिधिमंडल में नेताओं को शामिल करने के लिए राजनीतिक दलों से एक सूची मांगी थी. सरकार ने उसी सूची के आधार पर इस प्रतिनिधिमंडल को तैयार किया है. हालांकि, कांग्रेस ने जिन नामों का सुझाव दिया था, उनमें से किसी भी नेता को इस मंडल में शामिल नहीं किया गया है.
कांग्रेस नेता जयराम रमेश के अनुसार, केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने 16 मई को कांग्रेस से अनुरोध किया था कि पाकिस्तान से उत्पन्न आतंकवाद पर भारत की स्थिति स्पष्ट करने के लिए विदेश भेजे जा रहे प्रतिनिधिमंडल में शामिल करने के लिए चार नाम सुझाएं. इसके बाद, पार्टी ने चार नामों की सूची सौंपी थी.
कांग्रेस ने अपनी सूची में पूर्व कैबिनेट मंत्री आनंद शर्मा, लोकसभा में पार्टी के उपनेता गौरव गोगोई, राज्यसभा सांसद डॉ. सैयद नसीर हुसैन और लोकसभा सांसद राजा बरार को शामिल किया था. इस सूची में शशि थरूर का नाम नहीं था. बावजूद इसके, कांग्रेस द्वारा सुझाए गए किसी भी नेता को प्रतिनिधिमंडल में शामिल नहीं किया गया.
संसदीय कार्य मंत्रालय ने घोषणा की है कि तिरुवनंतपुरम से चार बार सांसद रह चुके थरूर सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करेंगे. अन्य नामित सदस्यों में भाजपा नेता रविशंकर प्रसाद और बैजयंत पांडा, जनता दल (यूनाइटेड) के सांसद संजय कुमार झा, द्रमुक की कनिमोझी करुणानिधि, राकांपा (शरद पवार गुट) की नेता सुप्रिया सुले और शिवसेना (शिंदे गुट) के सांसद श्रीकांत शिंदे शामिल हैं.
शशि थरूर ने इस जिम्मेदारी को लेकर सोशल मीडिया पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने लिखा कि वे हाल की घटनाओं पर भारत का दृष्टिकोण प्रस्तुत करने के लिए पांच प्रमुख राजधानियों में एक सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करने के लिए भारत सरकार के निमंत्रण से सम्मानित महसूस कर रहे हैं. उन्होंने यह भी कहा कि जब राष्ट्रीय हित शामिल हो और उनकी सेवाओं की आवश्यकता हो, तो वे पीछे नहीं हटेंगे.
यह उल्लेखनीय है कि मोदी सरकार की इस रणनीति में न केवल भारतीय जनता पार्टी के सांसद शामिल हैं, बल्कि अन्य दलों के सांसद भी शामिल हैं.
I am honoured by the invitation of the government of India to lead an all-party delegation to five key capitals, to present our nation’s point of view on recent events.
— Shashi Tharoor (@ShashiTharoor) May 17, 2025
When national interest is involved, and my services are required, I will not be found wanting.
Jai Hind! 🇮🇳 pic.twitter.com/b4Qjd12cN9
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